रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा के बजट सत्र में आज भी विपक्षियों ने जोरदार हंगामा किया। दरअसल बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से किसानों को हुए नुकसान का मामले को लेकर जमकर हंगामा हुआ। प्रश्नकाल खत्म होते ही विपक्ष ने ओलावृष्टि से फसल को हुए नुकसान के मुद्दे जमकर हंगामा किया। जिसके बाद कांग्रेस ने ओलावृष्टि के मुद्दे पर काम रोको प्रस्ताव लाया था, लेकिन आसंदी की तरफ से उसे अस्वीकार कर दिया गया। आसंदी ने यह कहते हुए स्थगन प्रस्ताव खारिज कर दिया कि इस पर राजस्व मंत्री प्रेमप्रकाश पांडेय का वक्तव्य आ गया है। साथ ही कृषि विभाग के बजट अनुदान मांग के दौरान इस विषय पर सदस्यों को अपनी बातें रखने के भरपूर मौके मिलेंगे जिसके बाद विपक्ष ने जमकर हंगामा किया, कांग्रेसी विधायकों ने इसके बाद जोरदार नारेबाजी शुरू कर दी। विपक्ष इस बात पर अड़ा रहा कि ओलावृष्टि से फसल नुकसान पर चर्चा की जानी चाहिए। भारी हंगामें के बीच सदन की कार्यवाही 5 मिनट के लिए स्थगित कर दी गई। सदन की कार्रवाई जब दोबारा शुरू हुई, तो विपक्ष ने फिर से हंगामा शुरू कर दिया।
कांग्रेस ने मुआवजे के प्रावधान को नाकाफी बताते हुए अतिरिक्त क्षतिपूर्ति देने की मांग की। इधर मंत्री अजय चंद्राकर ने विपक्ष के रूख पर टिप्पणी करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने सभी कलेक्टर को निर्देश दे दिए हैं। इसके बाद विपक्ष घड़ियाली आंसू बहाना बंद करे।
सदन की कार्यवाही दोबारा शुरू होने बाद भी विपक्षी सदस्यों का हंगामा जारी रहा। विपक्ष के सदस्य गर्भगृह पहुँचकर नारेबाजी करने लगे। गर्भगृह पहुंचकर नारेबाजी करने की वजह से विपक्ष के 21 सदस्य स्वमेव निलंबित हो गए।
प्रश्नकाल खत्म होते ही कांग्रेस ने कहा कि सरकार दलहन फसलों को बढ़ावा देने की बात करती है। दलहन फसलों के जरिए ही सरकार का रकबा बढ़ा है, फिर भी किसानों को राहत नहीं दी जा रही। कांग्रेस ने किसानों को तत्काल मुआवजा देने की मांग की और कहा कि फसल की क्षति के आकलन में देरी की जा रही है।
वहीं बीजेपी विधायक नवीन मार्कण्डेय ने भी ओलावृष्टि का मामला उठाकर किसानों को मुआवजा दिए जाने की मांग की। आसंदी ने व्यवस्था दी कि इस मामले में राजस्व मंत्री ने वक्तव्य दिया है। इस विषय में कृषि विभाग के बजट अनुदान मांग पर चर्चा के दौरान अपनी बातें रखने का मौका मिलेगा। आसंदी ने विपक्ष का स्थगन प्रस्ताव अग्राह्य किया।
वहीं कांग्रेस ने इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि किसानों के मुद्दे पर सरकार भाग रही है। उन्होंने कहा कि राजस्व मंत्री ने दो लाइन का वक्तव्य दिया था, इससे कैसे संतुष्ट हो जाएं।